जनेश्वर महादेव, बटेश्वर का इतिहास

By Arun Kumar

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जनेश्वर महादेव, बटेश्वर

आगरा। ब्रज की काशी कहे जाने वाले बटेश्वर में यमुना की धार को मोड़ कर बनाए गए अर्द्ध चंद्राकार बांध पर राम जानकी मंदिर है। इसमें विराजमान हैं जनेश्वर महादेवजी महाराज।

श्रृंखला में शुमार मंदिरों की बात करें तो यह ब्रह्मलाल मंदिर के नजदीक है। मंदिर में शिवलिंग के साथ शिव का आभूषण सर्प उनके सिर पर है।

मंदिर का इतिहास

इस मंदिर का निर्माण मंदिर श्रृंखला के कालखंड ही करवाया गया था। मंदिर की वास्तुकला अद्भुत है। प्राचीन मंदिर में जिस तरह के कंगूरे बनाए गए हैं, वे उस समय के कारीगरों की शिल्पकला कितनी बेजोड़ होगी, इसका नमूना है। यमुना नदी के किनारे स्थापित होने के कारण मंदिर में जो शिवलिंग है, उसको जनेश्वर महादेव नाम दिया गया।

मंदिर की विशेषता

जनेश्वर महादेव के साथ मंदिर में राम-सीता और लक्ष्मण के साथ हनुमानजी भी विराजमान हैं। इसी कारण जनेश्वर मंदिर के साथ इसे राम जानकी मंदिर भी कहते हैं। मंदिर में सोमवार को अभिषेक कर श्रद्धालु मन्नत मांगते हैं। सोमवार के अलावा हर रोज श्रद्धालु पूजा- अर्चना करने पहुंचते हैं।

मंदिर प्राचीन है। जो भी जनेश्वर भगवान की सच्चे मन से पूजा करता है, वे अपने भक्त को निराश नहीं करते। श्रद्धालु मंदिर में पूजा-अर्चना कर परिवार की सुख- शांति की कामना करते हैं।

जितेंद्र पाराशर, महंत

बटेश्वर में हर मंदिर का अपना अलग महत्व है। जनेश्वर मंदिर में महिलाएं सौभाग्य व परिवार की उन्नति व सुख-शांति लिए पूजा करती हैं। भगवान भी उनको मनचाहा फल देते हैं।

-गिरजा देवी, श्रद्धालु

निष्कर्ष

जनेश्वर महादेव के साथ मंदिर में राम-सीता और लक्ष्मण के साथ हनुमानजी भी विराजमान हैं। इसी कारण जनेश्वर मंदिर के साथ इसे राम जानकी मंदिर भी कहते हैं।

FAQ

Q. जनेश्वर महादेव, बटेश्वर मंदिर कहा स्थित है?

A. जनेश्वर महादेव, बटेश्वर मंदिर उत्तर प्रदेश के आगरा में है।

Q. मंदिर की वास्तुकला कैसी है?

A. मंदिर की वास्तुकला अद्भुत है जो की देखने लायक है।

Arun Kumar

Arun Kumar is a senior editor and writer at www.bhartiyasarokar.com. With over 4 years of experience, he is adept at crafting insightful articles on education, government schemes, employment opportunities and current affairs.

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